IND VS AUS: भारत और ऑस्ट्रेलिया के बीच बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी की शुरुआत हो चुकी है। जिसका पहला टेस्ट मैच गुरुवार को नागपुर में शुरू हुआ। 4 मैचों की इस टेस्ट सीरीज के पहले ही टेस्ट मैच के पहले ही दिन भारतीय टीम के स्पिन गेंदबाजों का बोलबाला देखने को मिला। जहां पर पहले बल्लेबाजी करने उतरी कंगारू टीम को रवीन्द्र जडेजा और आर अश्विन ने अपनी फिरकी से खूब नचाया और पहले ही दिन के खेल में रोहित शर्मा एंड कंपनी को इस मैच में आगे कर दिया है।
नागपुर के विदर्भ क्रिकेट एसोसिशन मैदान में खेले जा रहे पहले टेस्ट मैच में ऑस्ट्रेलिया के कप्तान पैट कमिंस ने टॉस जीतने के बाद पहले बल्लेबाजी करने का फैसला किया, लेकिन उनका ये फैसला उस वक्त भारी पड़ता नजर आया जब लंच के बाद रवीन्द्र जडेजा ने मोर्चा संभाला और जबरदस्त स्पिन गेंदबाजी करते हुए कंगारू बल्लेबाजों को पस्त कर डाला। लंबे समय के बाद वापसी कर रहे जडेजा ने कमबैक मैच के पहले ही दिन विकेट का पंजा खोला।
रवीन्द्र जडेजा के आगे पस्त हुई ऑस्ट्रेलियाई टीम
उन्होंने ऑस्ट्रेलिया की आधी टीम को पैवेलियन की राह दिखायी, जिसमें मार्नस लाबुशेन, स्टीवन स्मिथ जैसे दो बड़े बल्लेबाजों के अलावा मैट रेनशॉ, पीटर हैंड्सकॉम्ब और टॉम मर्फी को चलता किया। जडेजा की शानदार गेंदबाजी के सामने पूरा कंगारू टीम केवल 177 रन पर ही सिमट गई और भारत ने दिन का खेल खत्म होने तक 1 विकेट पर 77 रन बना लिए हैं।
5 विकेट लेकर जडेजा ने बताया कैसे किया अपने आप को तैयार
भारत के इस स्टार ऑलराउंडर खिलाड़ी ने वापसी करते हुए पहले ही दिन शानदार गेंदबाजी के बाद इसे लेकर बात की। उन्होंने कहा कि, “भले ही मैं चोटिल था, लेकिन मेरा आत्मविश्वास कम नहीं हुआ। मैं रिहैब के दौरान रोजाना 10 से 12 घंटे गेंदबाजी की प्रैक्टिस करता था, जिसके चलते मैं शानदार वापसी कर पाया। मैंने टेस्ट से पहले रणजी मैच खेला, जिससे मुझे काफी अच्छी प्रैक्टिस मिली।“
उन्होंने आगे कहा कि “मुझे लगता है कि मैं अपनी गेंदबाजी का लुत्फ ले रहा था। पांच महीने बाद वापसी कर रहा था। मैंने अपनी फिटनेस पर काम किया। चेन्नई में जो मैं फर्स्ट क्लास मैच खेला उससे मुझे बहुत आत्मविश्वास मिला। मैं लगातार स्टंप पर गेंदबाजी की सोच रहा था। कई गेंद सीधी निकल रही थी और कुछ टर्न हो रही थी।”
दिन में की 10 से 12 घंटे गेंदबाजी की प्रैक्टिस, मिला फायदा
वहीं जडेजा ने वापसी को लेकर कहा, ”मैं अपनी गेंदबाजी पर काम कर रहा था जब मैं बेंगलुरु में एनसीए में था तो 12 घंटे तक गेंदबाजी की है। पहले आपको आत्मविश्वास होना जरूरी है। आप पांच महीने बाद टेस्ट क्रिकेट खेल रहे थे। तो मैं अपनी चोट के बारे में नहीं सोच रहा था, मैं बस पांच महीने बाद खेल रहा था और चाहता था कि अच्छा करूं।”